ना Chemistry होती ना मैं Student होता ,
ना ये लैब होती ना ये Accident होता .
अभी Practical में आई नज़र एक लडकी ,
सुन्दर थी नाक उस की टेस्ट Tube जैसी .
बातों में उस की Glucose की Mithaas थी ,
सांसों में Ester की खुशबू भी साथ थी .
आंखों से झलकता था कुछ इस तरह का प्यार ,
बीन पीये ही हो जाता है अल्कोहोल का खुमार .
Benzene सा होता था उसकी Presence का एहसास ,
अँधेरे में होता था Radium का आभास .
नज़रें मीलीं , reaction हुआ
कुछ इस तरह love का Production हुआ .
लगने लगे उस के घर के चक्कर ऐसे ,
Nucleus के चारों तरफ Electron hon jaise.
उस दिन हमारे टेस्ट का Confirmation हुआ ,
जब उस के daddy से हमारा Introduction हुआ .
सुन कर hamari बात वो ऐसे उछल पडे ,
Ignesium Tube में जैसे Sodium भड़क उठे .
वो बोले , होश में आओ , पहचानो अपनी औकात ,
Iron मिल नहीं सकता कभी गोल्ड के साथ .
ये सुन कर टुटा हमारे अरमानों भरा बीकर ,
और हम चुप रहे Benzaldehyde का कड़वा घूँट पीकर .
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4 comments:
अरे वाह, प्रेम भी तो एक तरह की chemistry है। स्वागत है हिन्दी चिट्ठा जगत में।
"सुन कर hamari बात वो ऐसे उछल पडे ,
Ignesium Tube में जैसे Sodium भड़क उठे ."
बहुत जमाने बाद यह मस्त भाषा सुनने/पढ़ने को मिली. पैतीस-छ्त्तीस साल बाद!
सादर धन्यवाद उन्मुक्त और पांडे जी
बढ़िया ...बहुत सुंदर ...मजा आ गया
ऎसे ही लिखते रहें ...बधाई
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